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Doctor Advice: कैसे बचें मोटापा, ब्लड प्रेशर और शुगर से

Doctor Advice: कैसे बचें मोटापा, ब्लड प्रेशर और शुगर से

आज के दौर में लाइफस्टाइल डिसऑर्डर्स (Lifestyle Disorders) जैसे मोटापा, ब्लड प्रेशर और डायबिटीज़ की शुरुआती जड़ें अक्सर हमारे रोज़मर्रा के खान-पान और रूटीन से जुड़ी होती हैं. मेडिकल एक्सपर्ट्स मानते हैं कि 20–35 की उम्र में शरीर जिस तरह की आदतें अपनाता है, वही आगे चलकर मेटाबॉलिक हेल्थ को तय करती हैं.

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शुरुआती संकेत जिनपर ध्यान दें मोटापा और वज़न बढ़ना – लंबे समय तक बैठने की आदत, जंक फूड और स्लीप साइकिल का बिगड़ना इसकी मुख्य वजह है. ब्लड प्रेशर – देर रात जागना, स्ट्रेस और हाई सॉल्ट डाइट शुरुआती ट्रिगर हैं. शुगर लेवल – मीठे पेय पदार्थ, रिफाइंड कार्ब्स और एक्सरसाइज़ की कमी डायबिटीज़ का रास्ता खोलते हैं. जिम कल्चर बनाम गलत डाइटिंग

  • न्यूट्रिशनिस्ट्स का कहना है कि युवाओं में फिटनेस को लेकर जागरूकता तो बढ़ी है, लेकिन “क्विक रिज़ल्ट” कल्चर खतरनाक है.
  • कई लोग सोशल मीडिया ट्रेंड्स देखकर क्रैश डाइट अपनाते हैं, जिससे मसल्स वीकनेस, हार्मोनल इम्बैलेंस और माइक्रोन्यूट्रिएंट की कमी हो जाती है.
  • जिम में भी अगर बिना सही ट्रेनिंग या गाइडेंस के हेवी वर्कआउट किया जाए, तो यह हार्ट और जोड़ों पर दबाव डाल सकता है.

विशेषज्ञों की राय

डॉ. सीमा अग्रवाल, सीनियर न्यूट्रिशनिस्ट (दिल्ली):
“मोटापा और शुगर की शुरुआती जड़ें 20s में ही पड़ जाती हैं. अगर रोज़मर्रा की डाइट में फ्रूट्स, सब्जियां और होल ग्रेन्स को शामिल नहीं किया गया तो 30 की उम्र तक ब्लड शुगर लेवल बिगड़ना शुरू हो जाता है. ”

डॉ. आर.के. सिंह, एंडोक्रिनोलॉजिस्ट (AIIMS, दिल्ली):
“कई युवा बिना डॉक्टर से सलाह लिए सप्लीमेंट्स और फैड डाइट्स अपनाते हैं. यह मेटाबॉलिज्म को डिस्टर्ब कर देता है. हार्मोनल असंतुलन, थायरॉइड और इंसुलिन रेज़िस्टेंस जैसी समस्याएं इसी वजह से बढ़ रही हैं. ”

  बचाव के उपाय
  1. डेली एक्टिविटी – 30–40 मिनट की वॉक या योगा भी जिम जितना फायदेमंद हो सकता है.
  2. सही डाइट – प्लेट में 50% सब्जियां और सलाद, 25% प्रोटीन और 25% कॉम्प्लेक्स कार्ब्स रखें.
  3. स्ट्रेस मैनेजमेंट – मेडिटेशन और पर्याप्त नींद ब्लड प्रेशर और शुगर को कंट्रोल करने में अहम हैं.
  4. रेगुलर चेकअप – सालाना ब्लड प्रेशर, ब्लड शुगर और लिपिड प्रोफाइल की जांच करवाना ज़रूरी है. संदेश साफ़ है: लाइफस्टाइल डिसऑर्डर्स अचानक नहीं आते, उनकी जड़ें हमारी रोज़मर्रा की आदतों में होती हैं. अगर शुरुआत में ही सही कदम उठाए जाएं तो मोटापा, हाई बीपी और डायबिटीज़ जैसी बीमारियों से बचाव संभव है.

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