आज की भागदौड़ भरी जिंदगी में युवाओं की मानसिक सेहत पर खतरा लगातार बढ़ रहा है. पढ़ाई का दबाव, करियर की टेंशन, सोशल मीडिया का असर और अनहेल्दी लाइफस्टाइल – ये सब मिलकर युवाओं को धीरे-धीरे मानसिक बीमारियों की ओर धकेल रहे हैं। हालात यह हैं कि 18 से 30 साल के युवाओं में डिप्रेशन, एंग्जायटी और नींद से जुड़ी परेशानियां तेजी से बढ़ रही हैं.
क्यों बिगड़ रही है युवाओं की मेंटल हेल्थ?
1. सोशल मीडिया का दबाव –घंटों मोबाइल और सोशल मीडिया पर एक्टिव रहना तुलना और जलन की भावना को जन्म देता है.
2. नींद की कमी – देर रात तक जागना और नींद पूरी न होना दिमाग को थका देता है.
3. जंक फूड का सेवन – अनहेल्दी डाइट से शरीर ही नहीं, मानसिक सेहत भी बिगड़ती है.
4. वर्क-स्टडी स्ट्रेस – पढ़ाई और नौकरी का प्रेशर युवाओं को लगातार तनावग्रस्त करता है.
5. कम बातचीत और अकेलापन – परिवार और दोस्तों से दूरी बढ़ने पर मेंटल हेल्थ पर नकारात्मक असर पड़ता है.
शुरुआती लक्षण जिन पर ध्यान दें
बार-बार उदासी या निराशा महसूस होना, काम या पढ़ाई में ध्यान न लगना, छोटी-छोटी बातों पर चिड़चिड़ापन, नींद न आना या जरूरत से ज्यादा सोना, दूसरों से दूरी बनाना.
मानसिक सेहत सुधारने के उपाय
रोजाना 7-8 घंटे की नींद जरूर लें, एक्सरसाइज और योग को रूटीन में शामिल करें, हेल्दी डाइट खाएं और जंक फूड से दूरी बनाएं, परिवार और दोस्तों के साथ पॉजिटिव बातचीत करें, जरूरत पड़ने पर काउंसलिंग या डॉक्टर की सलाह लें.
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